एनसीपी को कल मिलेगा उत्तराधिकारी, कांग्रेस सुप्रिया सुले के पक्ष में क्यों?

महाराष्ट्र में एनसीपी की गतिविधियां आज गुरुवार को भी तेज हैं। यह लगभग साफ हो गया है कि अध्यक्ष शरद पवार अपना इस्तीफा वापस नहीं लेंगे और वो अपनी बेटी सुप्रिया सुले को अगला अध्यक्ष बनाए जाने के पक्ष में हैं। इस संबंध में कल 5 मई को 11 बजे एनसीपी की बैठक बुलाई गई है, जिसमें सुप्रिया सुले के नाम की घोषणा हो सकती है। दरअसल, पार्टी ने कल बुधवार की बैठक में एक कार्यकारी अध्यक्ष बनाए जाने पर चर्चा की थी, लेकिन फिर उसके लिए संविधान बदलने और चुनाव आयोग में उसे दर्ज कराने की कवायद करना पड़ती। इसलिए उससे बचने के लिए फिर से नए अध्यक्ष पर बात चल पड़ी है। इस बीच एक महत्वपूर्ण घटनाक्रम में कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने आज सुबह सुप्रिया सुले से बात की। कांग्रेस की कोशिश है कि सुप्रिया सुले ही एनसीपी अध्यक्ष बनें। 

शरद पवार ने जब इस्तीफे की घोषणा मंगलवार को थी तो पार्टी कार्यकर्ताओं ने इस पर नाराजगी जताते हुए इस्तीफा वापस लेने का दबाव डाला। इस घटनाक्रम के बाद अजित पवार खेमा सक्रिय हो गया और अध्यक्ष बनने के ख्वाब देखने लगे। एनसीपी के वरिष्ठ नेता छगन भुजबल ने बाकायदा बयान दिया कि शरद पवार के भतीजे अजित पवार को अगला अध्यक्ष बनाया जाना चाहिए। लेकिन अब छगन भुजबल भी पीछे हट गए। भुजबल अब सुप्रिया सुले को राष्ट्रीय अध्यक्ष और अजित पवार को प्रदेश अध्यक्ष बनाने पर जोर दे रहे हैं। अजित पवार ने भी सुप्रिया सुले से कोई बयान नहीं देने को कहा। लेकिन कांग्रेस से एनसीपी में आए पीसी चाको ने शरद पवार से मुलाकात कर उनकी बेटी को अध्यक्ष बनाने की मांग की। चाको ने शरद पवार से कहा कि ऐसा नहीं हुआ तो पार्टी बिखर सकती है। 

एनडीटीवी को एनसीपी सूत्रों ने गुरुवार को बताया कि शरद पवार के उत्तराधिकारी के सवाल का जवाब कल शुक्रवार को मुंबई की बैठक में मिल सकता है। एनसीपी सूत्रों ने कहा कि उत्तराधिकारी चुनने के लिए एनसीपी की समिति, मुंबई में पार्टी कार्यालय में सुबह 11 बजे बैठक करेगी। अगर पवार अपना फैसला नहीं बदलते हैं तो उनकी बेटी सुप्रिया सुले के पार्टी प्रमुख बनने की संभावना है। हालांकि इसमें बीच का एक रास्ता यह भी निकाला जा सकता है कि सुप्रिया सुले को शरद पवार की जगह राष्ट्रीय अध्यक्ष और अजित पवार को महाराष्ट्र प्रदेश अध्यक्ष बना दिया जाए। 

शरद पवार का दांवः एनडीटीवी के मुताबिक पार्टी को बांटने से रोकने के लिए उनके भतीजे अजित पवार की चालों के मद्देनजर, शरद पवार के इस्तीफे को तख्तापलट की कोशिश को मात देने के लिए एक सधे हुए कदम के रूप में भी देखा जा रहा है।

महाराष्ट्र में अपने पिता के गृह निर्वाचन क्षेत्र से सांसद सुप्रिया सुले की नियुक्ति से यह तय हो जाएगा कि 82 वर्षीय शरद पवार के पास ही एनसीपी के दरवाजे की चाबियां हैं।

राहुल ने सुप्रिया सुले से क्यों बात की

इस बीच कांग्रेस नेता राहुल गांधी ने शरद पवार की बेटी सुप्रिया सुले से आज सुबह फोन पर बात की। यह जानकारी एनडीटीवी को सूत्रों ने दी। राहुल ने शरद पवार के इस्तीफे और बाद के घटनाक्रम पर सुले से बात की। कांग्रेस भी चाहती है कि शरद पवार अगर इस्तीफा वापस नहीं लेते हैं तो सुप्रिया सुले को ही पार्टी अध्यक्ष बनाया जाए। क्योंकि अजित पवार की पिछली गतिविधियों को देखते हुए उन पर किसी को अब विश्वास नहीं रहा। 

सुप्रिया सुले के बनने से महाविकास अघाड़ी (एमवीए) भी बरकार रहेगा, जिसमें उद्धव ठाकरे की पार्टी, कांग्रेस और एनसीपी हैं। लेकिन अजित पवार के अध्यक्ष बनने या बागडोर संभालने से कब वो बीजेपी से हाथ मिला लेंगे, कोई नहीं जानता। वैसे भी सुप्रिया सुले को बहुत सुलझा हुआ नेता माना जाता है और वो कांग्रेस के साथ गठबंधन में रहना पसंद करेंगी।



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